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Showing posts from July, 2025

Budhha-Stotra-Shri-Budh-Stotra-Every-Wednesday/ बुधवार को करें श्री बुध स्तोत्र का पाठ

श्री बुध स्तोत्र | बुध चालीसा | बुध ग्रह की कृपा पाने का उपाय श्री बुध स्तोत्र... "श्री बुध स्तोत्र" एक वैदिक स्तोत्र है जो बुध ग्रह (Mercury) की कृपा प्राप्त करने के लिए पढ़ा जाता है। यह स्तोत्र विशेष रूप से बुध ग्रह के दोष (Budh Dosh) से मुक्ति, बुद्धि, वाणी, लेखन, व्यापार, शिक्षा और संवाद कौशल में वृद्धि हेतु अत्यंत प्रभावशाली माना जाता है। गणपति जगवंदन स्तुति (भक्त तुलसीदास जी द्वारा रचित यह स्तुति भगवान गणेश की सुंदर वंदना है। यह स्तोत्र बुध स्तोत्र या अन्य किसी शुभ कार्य के आरंभ में गाया जाता है।) "गाइए गणपति जगवंदन । शंकर सुवन भवानी के नंदन ॥ सिद्धि सदन गजवदन विनायक । कृपा सिंधु सुंदर सब लायक ॥ गाइए गणपति जगवंदन । शंकर सुवन भवानी के नंदन ॥ मोदक प्रिय मुद मंगलदाता । विद्या बारिधि बुद्धिविधाता ॥ गाइए गणपति जगवंदन । शंकर सुवन भवानी के नंदन ॥ मांगत तुलसीदास कर जोरे । बसहिं रामसिय मानस मोरे ॥ गाइए गणपति जगवंदन । शंकर सुवन भवानी के नंदन ॥" || श्री बुध स्तोत्र || (बुध ग्रह...

Buddha-Chalisa-Shri-Buddha-Chalisa/श्री बुध चालीसा – विशेष लाभ

श्री बुध चालीसा | बुद्धि, वाणी, और व्यापार में सफलता हेतु पूर्ण पाठ श्री बुध चालीसा... "श्री बुध चालीसा" का पाठ विशेष रूप से बुध ग्रह की कृपा प्राप्त करने, उनकी शुभ ऊर्जा को जाग्रत करने, और जीवन में बुद्धि, वाणी, व्यापार, और शिक्षा के क्षेत्र में सफलता पाने के लिए किया जाता है। || श्री बुध चालीसा || (बुध ग्रह को समर्पित चालीसा - बुद्धि, वाणी, व्यापार और संतुलन के कारक देवता) ॥ दोहा ॥ जय जय जय बुध देवता, शुभ बुद्धि के दाता। कृपा करो अब शांतिपूर्वक, संकट हरो विधाता॥ ॥ चौपाई ॥ जयति बुध दिनकर सुत, शुभ गुण निधि अपार। ज्ञान, वाक्, सौम्यता हेतु, पूज्य सदा ससार॥ श्वेत वर्ण, शुभ कोमल तन, रत्न मुकुट सिर धर। कर कमल पुस्तक वर माला, सुंदर रूप अपार॥ बुधग्रह बुद्धि का कारक, विद्या-विनय प्रसन्न। जो नित जापे नाम तव, उसके मिटे विपन्न॥ कन्या-मिथुन राशि अधिपति, बुधवार तव दिन। जो नियम से व्रत करे, पावे शुभ फल बिन॥ गुरु बृहस्पति पुत्र कहाए, चंद्रमा से जन्म। माता तारा की संतान, है पावन तव कर्म॥ नारायण ते प्रकट भये, भक्तन हितकारी। चतुर बु...

Dharti-Mata-Chalisa-Bhoomi-Mata-Chalisa/श्री भूमि माता चालीसा

श्री धरती माता चालीसा | Dharti Mata Chalisa Hindi श्री धरती माता चालीसा... श्री धरती माता को हिन्दू धर्म में धैर्य, पोषण, क्षमा और स्थिरता की देवी माना गया है। यह चालीसा भक्तों को प्रकृति प्रेम, संतुलन और सदाचार की भावना से भर देती है। "श्री भूमि माता चालीसा" का संपूर्ण पाठ – 40 चौपाइयों (श्लोकों) में, जिसमें धरती माता (भूमि देवी) की महिमा, उपकार और कृपा का भव्य वर्णन है। ॥ श्री धरती माता चालीसा ॥ (पृथ्वी देवी की महिमा में भक्ति-पूर्ण चालीसा) ॥ दोहा ॥ जय जय जय धरती मइया, तू जीवन की खान। तेरी शरण जो आ गया, होय सुखी इंसान॥ ॥ चौपाई ॥ जयति जय भूमि जगत की धरणी। पालक माता, सृष्टि चरणी॥ अन्न, जल, फल, धन की दाता। सबको देवे तू सुख माता॥ पवन, अग्नि, जल तज पावे। धरती पर ही जन्मत जावे॥ तेरे गर्भ बसे जीव अनंत। तू ही त्रिलोकी की भगवंत॥ पर्वत, वन, नदी तू रूपा। तेरे कण में ब्रह्म स्वरूपा॥ ब्रह्मा ने जब रची सृष्टि सारी। तब तू बनी आधार हमारी॥ विष्णु वराह रूप जब धारा। तुझे उबारा संकट सारा॥ तेरी पूजा ऋषि मुनि गावे। कण-कण में ईश समावे॥ ...

Narsingh-Chalisa-Narsimha-bhagwan-Chalisa/श्री नरसिंह चालीसा

श्री नरसिंह चालीसा | Narasimha Chalisa in Hindi - संकट से रक्षा और रोग मुक्ति श्री नरसिंह चालीसा... श्री नरसिंह चालीसा का पवित्र और भक्तिभाव से परिपूर्ण पाठ। श्री नरसिंह भगवान, श्री विष्णु के उग्र अवतार हैं, जो भक्त प्रह्लाद की रक्षा हेतु प्रकट हुए और अधर्मी हिरण्यकश्यप का वध किया। श्री नरसिंह चालीसा भगवान विष्णु के नरसिंह अवतार की स्तुति में रचित एक प्रभावशाली स्तोत्र है, जो संकटों से रक्षा, शत्रुनाश, रोगमुक्ति और भक्त की समस्त इच्छाओं की पूर्ति के लिए उत्तम माना जाता है। ॥ श्री नरसिंह चालीसा ॥ (श्री हरि के उग्र और करुणामयी स्वरूप की वंदना) ॥ दोहा ॥ जय नरसिंह भगवान की, जय जय रक्षक नाम। भक्त प्रह्लाद उबारे जो, कीन्हो जग में काम॥ ॥ चौपाई ॥ मास वैशाख कृतिका युत, हरण मही को भार। शुक्ल चतुर्दशी सोम दिन, लियो नरसिंह अवतार।।१।। धन्य तुम्हारो सिंह तनु, धन्य तुम्हारो नाम। तुमरे सुमरन से प्रभु, पूरन हो सब काम।।२।। नरसिंह देव में सुमरों तोहि धन बल विद्या दान दे मोहि।।३।। जय-जय नरसिंह कृपाला करो सदा भक्तन प्रतिपाला।।४।। विष्णु के अवतार दयाला ...

Baglamukhi-Chalisa-Shri-Baglamukhi-Chalisa/श्री बगलामुखी चालीसा

श्री बगलामुखी चालीसा | शत्रु नाश और विजय प्राप्ति का शक्तिशाली पाठ श्री बगलामुखी चालीसा... श्री बगलामुखी चालीसा का पाठ भक्त की वाणी, विवेक, विजय और सुरक्षा के लिए परम फलदायी है। यह पाठ माँ बगलामुखी के चरणों में पूर्ण समर्पण और श्रद्धा के साथ प्रस्तुत किया गया है। "हे माँ! मेरी जिह्वा, बुद्धि, कर्म, मन और आत्मा – सब कुछ तेरे चरणों में समर्पित है।" ॥ श्री बगलामुखी चालीसा ॥ (समर्पित – परम करुणामयी, पीताम्बरा, श्री बगलामुखी देवी के श्रीचरणों में) ॥ दोहा ॥ जयतीं जय बगला भवानी, जय महामाया बलवानी। तेरी महिमा पार न पावें, शंकर विष्णु ब्रह्मा गावें॥ ॥ चौपाई ॥ जय बगला महारानी। जय महामाया बलवानी॥ दुष्ट विनाशक नाम तुम्हारा। संकट हरण करै संसारा॥ पीताम्बर तन सुवास सुहाई। स्वर्ण सिंह पर तू सवारी॥ हाथों में मुद्गर अरु जिह्वा। शत्रु मूर्छित करै प्रलिहा॥ मंत्र प्रभाव तुम्हारा न्यारा। साधक जागे भाग्य हमारा॥ जो कोई तुझको ध्यावे प्यारा। संकट कबहुँ न आवे न्यारा॥ शत्रु बधे शरण जो आवै। दोष व्यथा निकट ना आवै॥ पीतांबरा तू महामाया। तू संकट हारिणी जगद...

Annapurna-Chalisa-Special-benefits-of-Annapurna-Chalisa/ श्री अन्नपूर्णा चालीसा

श्री अन्नपूर्णा चालीसा | Annapurna Chalisa in Hindi - माँ अन्नपूर्णा की कृपा प्राप्त करें श्री अन्नपूर्णा चालीसा... श्री अन्नपूर्णा चालीसा, जो मां अन्नपूर्णा देवी की स्तुति है। यह पाठ भक्तों को अन्न, समृद्धि, संतोष और कृपा प्राप्त करने हेतु किया जाता है। मां अन्नपूर्णा चालीसा" का पाठ करने से साधक को न केवल आध्यात्मिक शक्ति प्राप्त होती है, बल्कि पारिवारिक, आर्थिक और मानसिक जीवन में भी विशेष लाभ मिलते हैं। ॥ श्री अन्नपूर्णा चालीसा ॥ ॥ दोहा ॥ विश्वेश्वर पदपदम की रज निज शीश लगाय । अन्नपूर्णे, तव सुयश बरनौं कवि मतिलाय ॥ ॥ चौपाई ॥ नित्य आनंद करिणी माता । वर अरु अभय भाव प्रख्याता ॥१॥ जय ! सौंदर्य सिंधु जग जननी । अखिल पाप हर भव-भय-हरनी ॥२॥ श्वेत बदन पर श्वेत बसन पुनि । संतन तुव पद सेवत ऋषिमुनि ॥३॥ काशी पुराधीश्वरी माता । माहेश्वरी सकल जग त्राता ॥४॥ वृषभारुढ़ नाम रुद्राणी । विश्व विहारिणि जय ! कल्याणी ॥५॥ पतिदेवता सुतीत शिरोमणि । पदवी प्राप्त कीन्ह गिरी नंदिनि ॥६॥ पति विछोह दुःख सहि नहिं पावा । योग अग्नि तब बदन जर...