Skip to main content

GK/2022/Most important questions of general knowledge in Hindi

प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए सबसे महत्वपूर्ण G K प्रश्न

सामान्य ज्ञान के सबसे महत्वपूर्ण प्रश्न हिंदी में...

जीके के महत्वपूर्ण प्रश्न: जो विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं के सामान्य जागरूकता अनुभाग में अक्सर पूछे जाते हैं। अपने सामान्य ज्ञान को बढ़ाने के लिए आपको एक बार अवश्य पढ़ना चाहिए।
जीके के महत्वपूर्ण प्रश्न:

प्रश्न - भारत के पहले उप-प्रधानमंत्री थे?
उत्तर. सरदार वल्लभ भाई पटेल

प्रश्न - ‘ऑस्‍कर पुरस्‍कार’ प्रदान किया जाता है-
उत्तर. नेशनल अकादमी ऑफ मोशन पिक्‍चर ऑर्ट्स एण्‍ड साइंसेज द्वारा

प्रश्न - ज्ञानपीठ पुरस्‍कार प्राप्‍त करने वाला प्रथम हिन्‍दी लेखक कौन था?
उत्तर. सुमित्रानंदन पंथ

प्रश्न - सरस्‍वती सम्‍मान के प्रथम प्राप्‍तकर्ता हैं?
उत्तर. हरिवंश राय बच्‍चन

प्रश्न - ‘भारत रत्‍न’ से विभूषित प्रथम विभूति है?
उत्तर. डॉ. एस. राधाकृष्‍णन

प्रश्न - मरणोपरान्‍त भारतरत्‍न पुरस्‍कार से सर्वप्रथम किसे सम्‍मानित किया गया था?
उत्तर. लाल बहादुर शास्‍त्री

प्रश्न - ‘भारत रत्‍न’ से विभूषित प्रथम विदेशी है-
उत्तर. खान अब्‍दुल गफ्फार खान

प्रश्न - ‘दादा साहेब फाल्‍के पुरस्‍कार’ प्रदान किया जाता है-
उत्तर. सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा

प्रश्न - भारत की पहली महिला कैबिनेट मंत्री कौन-सी थी?
उत्तर. राजकुमारी अमृत कौर

प्रश्न - भारत के सशस्त्र बलों का सुप्रीम कमांडर है?
उत्तर. भारत के राष्ट्रपति

प्रश्न - युद्ध में साहस और पराक्रम के लिए दिया जाने वाला भारत का सर्वोच्च सैनिक पुरस्कर कौन-सा है?
उत्तर. परमवीर चक्र

प्रश्न - स्थाई बंदोबस्त के तहत जमींदार को पूरे राजस्व का कितना प्रतिशत राज्य को देना तय हुआ?
उत्तर. 89%

प्रश्न - द्वितीय विश्वयुद्ध के दौरान जापान पर परमाणु बम कब गिराया गया था?
उत्तर. 6 अगस्त 1945

प्रश्न - मध्य प्रदेश की राजधानी का नाम क्या है?
उत्तर. भोपाल

प्रश्न - “उगते सूरज की भूमि” किस देश को कहा जाता है?
उत्तर. जापान

प्रश्न - टोक्यो किस देश की राजधानी है?
उत्तर. जापान

प्रश्न - विश्व का सबसे बड़ा देश कौन-सा है?
उत्तर. रूस

प्रश्न - भारत की मुख्य भूमि का अक्षांश किसके बीच फैला हुआ है?
उत्तर. 8’4′ उत्तर और 37’6′ उत्तर के बीच

प्रश्न - अक्टूबर और नवंबर के महीनों में भारी वर्षा कहा होती है?
उत्तर. कोरोमंडल तट पर

प्रश्न - चेन्नई में दक्षिण-पश्चिम मानसून से अन्य स्थानों की तुलना में कम वर्षा क्यों होती है?
उत्तर. क्योंकि मानसून कोरोमंडल तट के समानांतर चलता है, चेन्नई बहुत गर्म है और नमी को संघनित नहीं होने देता, वे अपतटीय हवाएं हैं।

प्रश्न - गुवाहाटी से चंडीगढ़ तक मानसूनी बारिश का क्या रुख है?
उत्तर. हासन ट्रेंड एक वर्ष में

प्रश्न - 50 सेमी से कम वर्षा वाला क्षेत्र कौन-सा है?
उत्तर. लेह (लद्दाख)

प्रश्न - कौन-सा संगठन भारत का स्थलाकृतिक मानचित्र बनाता है?
उत्तर. भारतीय सर्वेक्षण विभाग

प्रश्न - भारत का कौन-सा केंद्र शासित प्रदेश ऐसा है कि इसके चार जिले हैं, लेकिन इसके किसी भी जिले की सीमा इसके किसी अन्य जिले की सीमा से नहीं लगती है?
उत्तर. पुडुचेरी

प्रश्न - कार्बोरेटर किस इंजन में होता है?
उत्तर. पेट्रोल इंजन

प्रश्न - हाइग्रोमीटर किसे नापने के लिए प्रयोग मे लाया जाता है?
उत्तर. वायुमण्डल में व्याप्त आर्द्रता कॉ

प्रश्न - स्थायी बंदोबस्त का सिद्धांत किसने दिया था?
उत्तर. लॉर्ड कॉर्नवालिस

प्रश्न - कायांतरित कौन-सी शैल है?
उत्तर. संगमरमर

प्रश्न - हिमसागर एक्सप्रेस किन दोनों जगह के बीच चलती है?
उत्तर. जम्मू और कश्मीर

प्रश्न - एक घण्टे में पृथ्वी कितने देशान्तर घूमती है?
उत्तर. 15° डिग्री देशांतर

प्रश्न - चंद्र ग्रहण किस कारण होता है?
उत्तर. पृथ्वी, सूर्य और चन्द्रमा के बीच आ जाता है।

प्रश्न - ब्रिटिश शासन ने किन स्थानों के बीच पहली रेलवे लाइन शुरू की गई थी?
उत्तर. मुम्बई से ठाणे के बीच

प्रश्न - बगान कृषि का उत्पादन कौन करता है?
उत्तर. गैर-खाद्य फसलें

प्रश्न - भारत में फसलों का क्षेत्रफल कितना है?
उत्तर. खाद्यान्न के क्षेत्रफल का 60 से 70 प्रतिशत

प्रश्न - जूट उत्पादन में सर्वाधिक प्रचुर क्षेत्र कौन से है?
उत्तर. पश्चिम बंगाल

प्रश्न - भारत में जूट का सर्वाधिक क्षेत्रफल कहाँ है?
उत्तर. पश्चिम बंगाल

प्रश्न - अंगूरों की पैदावार के लिए कौन-सा शहर प्रसिद्ध है?
उत्तर. नासिक (महाराष्ट्र)

प्रश्न - शरीफा की फसल कौन से महीने काटी जाती है?
उत्तर. नवम्बर के प्रारम्भ

प्रश्न - HYV कार्यक्रम को भारत में और क्या कहा जाता है?
उत्तर. नई कृषि नीति

प्रश्न - भारत के किस राज्य को चावल का कटोरा कहा जाता है?
उत्तर. आंध्र प्रदेश

प्रश्न - ऑपरेशन फ्लड किससे संबंधित है?
उत्तर. दुग्ध उत्पादन

प्रश्न - सोहन घाटी का सम्बन्ध किस काल से है?
उत्तर. निम्न पूरा पाषाण काल युगीन स्थलों से

प्रश्न - हरित क्रांति शब्द का प्रयोग किस उच्च उत्पादन को इंगित करने के लिए किया गया है?
उत्तर. प्रति हेक्टेयर कृषि उत्पादकता में वृद्धि करके।

प्रश्न - हरित क्रांति किन राज्यों में सर्वाधिक सफल रही?
उत्तर. पंजाब, हरियाणा और उत्तर प्रदेश में

प्रश्न - हरित क्रांति का संबंध किस फसल से है?
उत्तर. गेहूँ

आपको यह जानकारी कैसी लगी, आप हमें निचे कमेंट करके जरुर बताये और आप हमारे वेबसाइट को Home पेज में जा कर सब्सक्राइब कर सकते है और आप इसे WhatsApp, Facebook सोशल मीडिया प्लेटफार्म में शेयर कर सकते है।
Related Pages:
  1. भारतीय स्वतंत्रता का इतिहास
  2. नदियों के किनारे स्थित विश्व के प्रमुख शहर
  3. भारत के प्रमुख लोक नृत्य सूची
  4. नदियों के किनारे बसे भारत के प्रमुख शहर
  5. विश्व के प्रमुख देशों के समाचार पत्रों के नाम
  6. विश्व के प्रमुख देश, राजधानी एवं उनकी मुद्राओं की सूची
  7. संस्कृत में गिनती 1 से 100 तक
  8. विश्व के प्रमुख देशों के राष्ट्रीय पशु
  9. महत्वपूर्ण राष्ट्रीय दिवस और अन्तर्राष्ट्रीय दिवस
  10. विश्व के प्रमुख भौगोलिक उपनाम की सूची
  11. विश्व के प्रमुख औद्योगिक क्षेत्र की सूचि
  12. प्रमुख व्यक्तियों के लोकप्रिय उपनाम की सूचि
  13. भारत के प्रमुख शहरों के भौगोलिक उपनाम
  14. भारत के प्रमुख राष्ट्रीय उद्यान (National Parks) की सूची
  15. भारत की नदियाँ और उनकी सहायक नदियाँ
  16. भारत की प्राचीन नदियों के नाम
  17. भारत के प्रमुख बांध एवं नदी परियोजनाएँ

Comments

Popular posts from this blog

Shri Shiv-stuti - नंदी की सवारी नाग अंगीकार धारी।

श्री शिव स्तुति | सरल और प्रभावी स्तुति का पाठ भोले शिव शंकर जी की स्तुति... ॐ नमः शिवाय | ॐ नमः शिवाय | ॐ नमः शिवाय | ॐ नमः शिवाय | ॐ नमः शिवाय भगवान शिव स्तुति : भगवान भोलेनाथ भक्तों की प्रार्थना से बहुत जल्द ही प्रसन्न हो जाते हैं। इसी कारण उन्हें 'आशुतोष' भी कहा जाता है। सनातन धर्म में सोमवार का दिन को भगवान शिव को समर्पित है। इसी कारण सोमवार को शिव का महाभिषेक के साथ साथ शिव की उपासना के लिए व्रत भी रखे जाते हैं। अपने परिवार के लिए सुख समृद्धि पाना के लिए सोमवार के दिन शिव स्तुति का जाप करना आपके लिए लाभकारी होगा और स्तुति का सच्चे मन से करने पर भोले भंडारी खुश होकर आशीर्वाद देते है। ॥ शिव स्तुति ॥ ॥ दोहा ॥ श्री गिरिजापति बंदि कर चरण मध्य शिर नाय। कहत गीता राधे तुम मो पर हो सहाय॥ कविता नंदी की सवारी नाग अंगीकार धारी। नित संत सुखकारी नीलकण्ठ त्रिपुरारी हैं॥ गले मुण्डमाला भारी सर सोहै जटाधारी। बाम अंग में बिहारी गिरिजा सुतवारी हैं॥ दानी बड़े भारी शेष शारदा पुकारी। काशीपति मदनारी कर शूल च्रकधारी हैं॥ कला जाकी उजियारी लख देव सो निहारी। य...

jhaankee - झांकी उमा महेश की, आठों पहर किया करूँ।

भगवान शिव की आरती | BHAKTI GYAN भगवान शिव की आरती... ॐ नमः शिवाय: | ॐ नमः शिवाय: | ॐ नमः शिवाय: | ॐ नमः शिवाय: | ॐ नमः शिवाय: भगवान शिव की पूजा के समय मन के भावों को शब्दों में व्यक्त करके भी भगवान आशुतोष को प्रसन्न किया जा सकता है। भगवान शिव की आरती से हम भगवान भोलेनाथ के चरणों में अपने स्तुति रूपी श्रद्धासुमन अर्पित कर उनका कृपा प्रसाद पा सकते हैं। ॥ झांकी ॥ झांकी उमा महेश की, आठों पहर किया करूँ। नैनो के पात्र में सुधा, भर भर के मैं पिया करूँ॥ वाराणसी का वास हो, और न कोई पास हो। गिरजापति के नाम का, सुमिरण भजन किया करूँ॥ झांकी उमा महेश की....... जयति जय महेश हे, जयति जय नन्द केश हे। जयति जय उमेश हे, प्रेम से मै जपा करूँ॥ झांकी उमा महेश की....... अम्बा कही श्रमित न हो, सेवा का भार मुझको दो। जी भर के तुम पिया करो, घोट के मैं दिया करूँ॥ झांकी उमा महेश की....... जी मै तुम्हारी है लगन, खीचते है उधर व्यसन। हरदम चलायमान हे मन, इसका उपाय क्या करूँ॥ झांकी उमा महेश की....... भिक्षा में नाथ दीजिए, सेवा में मै रहा करूँ। बेकल हु नाथ रात दिन चैन...

Sri Shiva\Rudrashtakam\Shri Rudrashtakam Stotram

श्री शिव रुद्राष्टक स्तोत्र श्री शिव रुद्राष्टक स्तोत्र... !! जय श्री सीताराम !! जय श्री हनुमान !! जय श्री दुर्गा माँ !! भगवान शिव शंकर जी आसानी से प्रसन्न हो जाते हैं। यदि भक्त श्रद्धा पूर्वक एक लोटा जल भी अर्पित कर दे तो भी वे प्रसन्न हो जाते हैं। इसलिए उन्हें भोलेनाथ भी कहा जाता है। 'श्री शिव रुद्राष्टकम' अपने आप में अद्भुत स्तुति है। यदि कोई आपको परेशान कर रहा है तो किसी शिव मंदिर या घर में ही कुशा के आसन पर बैठकर लगातार 7 दिनों तक सुबह शाम 'रुद्राष्टकम' स्तुति का पाठ करने से भगवान शिव बड़े से बड़े शत्रुओं का नाश करते हैं और सदैव अपने भक्तों की रक्षा करते हैं। रामायण के अनुसार, मर्यादा पुरूषोत्तम भगवान श्रीराम ने रावण जैसे भयंकर शत्रु पर विजय पाने के लिए रामेशवरम में शिवलिंग की स्थापना कर रूद्राष्टकम स्तुति का श्रद्धापूर्वक पाठ किया था और परिणाम स्वरूप शिव की कृपा से रावण का अंत भी हुआ था। ॥ श्री शिव रुद्राष्टक स्तोत्र ॥ नमामीशमीशान निर्वाण रूपं, विभुं व्यापकं ब्रह्म वेदः स्वरूपम्। निजं निर्गुणं निर्विकल्पं निरीहं, चिदाकाश माकाशवासं भज...

Mata Chamunda Devi Chalisa - नमस्कार चामुंडा माता, तीनो लोक मई मई विख्याता

चामुण्डा देवी की चालीसा | BHAKTI GYAN चामुण्डा देवी की चालीसा... हिंदू धर्म में मां दुर्गा को शक्ति स्वरूपा माना गया है। भारतवर्ष में कुल 51 शक्तिपीठ है, जिनमे से एक चामुण्‍डा देवी मंदिर शक्ति पीठ भी है। चामुण्डा देवी का मंदिर मुख्यता माता काली को समर्पित है, जो कि शक्ति और संहार की देवी है। पुराणों के अनुसार धरती पर जब कोई संकट आया है तब-तब माता ने दानवो का संहार किया है। असुर चण्ड-मुण्ड के संहार के कारण माता का नाम चामुण्डा पड़ा। श्री चामुंडा देवी मंदिर को चामुंडा नंदिकेश्वर धाम के नाम से भी जाना जाता है, यह मंदिर हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा जिले की धर्मशाला तहसील में पालमपुर शहर से 19 K.M दूर स्थित है। जो माता दुर्गा के एक रूप श्री चामुंडा देवी को समर्पित है। || चालीसा || ।। दोहा ।। नीलवरण मा कालिका रहती सदा प्रचंड, दस हाथो मई ससत्रा धार देती दुस्त को दांड्ड़ । मधु केटभ संहार कर करी धर्म की जीत, मेरी भी बढ़ा हरो हो जो कर्म पुनीत ।। ।। चौपाई ।। नमस्कार चामुंडा माता, तीनो लोक मई मई विख्याता । हिमाल्या मई पवितरा धाम है, महाशक्ति तुमको प्रडम है ।।1।। ...

Dwadash Jyotirlinga - सौराष्ट्रे सोमनाथं च श्रीशैले मल्लिकार्जुनम्।

सौराष्ट्रे सोमनाथं च श्रीशैले मल्लिकार्जुनम्। द्वादश ज्योतिर्लिंग... हिन्दू धर्म में यह माना जाता है कि जो मनुष्य प्रतिदिन प्रात:काल और संध्या के समय इन बारह ज्योतिर्लिंगों का नाम लेता है, उसके सात जन्मों का किया हुआ पाप इन लिंगों के स्मरण मात्र से मिट जाता है। श्री द्वादश ज्योतिर्लिंग स्तोत्रम् सौराष्ट्रे सोमनाथं च श्रीशैले मल्लिकार्जुनम्। उज्जयिन्यां महाकालमोंकारममलेश्वरम्॥१॥ परल्यां वैद्यनाथं च डाकिन्यां भीमाशंकरम्। सेतुबंधे तु रामेशं नागेशं दारुकावने॥२॥ वाराणस्यां तु विश्वेशं त्र्यंबकं गौतमीतटे। हिमालये तु केदारम् घुश्मेशं च शिवालये॥३॥ एतानि ज्योतिर्लिङ्गानि सायं प्रातः पठेन्नरः। सप्तजन्मकृतं पापं स्मरणेन विनश्यति॥४॥ Related Pages: श्रीहनुमदष्टोत्तरशतनामस्तोत्रम् चिन्तामणि षट्पदी स्तोत्र गणपतितालम् श्री कालभैरव अष्टकम् अंगना पधारो महारानी मोरी शारदा भवानी देवी भजन- इंद्राक्षी स्तोत्रम् श्री शिव प्रातः स्मरणस्तोत्रम् 12 प्रमुख ज्योतिर्लिंग राम रक्षा स्तोत्र संकटमोचन हनुमानाष्टक संस्कृत में मारुति स्तो...

Suryakavach/सूर्य कवच संस्कृत में/Suryasya Kavach

सूर्य कवच सूर्य कवच संस्कृत में... ॐ नमः शिवाय ॐ नमः शिवाय ॐ नमः शिवाय ॐ नमः शिवाय ॐ नमः शिवाय सूर्य कवच एक रक्षात्मक स्तोत्र है। इसका पाठ करने से शरीर स्वस्थ रहता है और सौभाग्य की प्राप्ति होती है। पुराणों के अनुसार, मकर संक्रांति के दिन इस कवच का पाठ करने से सात पीढ़ियों तक की रक्षा होती है। मकर संक्रांति इस दिन सूर्य उत्तरायण होता है, जिसका अर्थ है सूर्य उत्तर दिशा की ओर बढ़ता है। सूर्य कवच Play Audio श्री गणेशाय नमः शृणुष्व मुनिशार्दूल सूर्यस्य कवचं शुभम्। शरीरारोग्यदं दिव्यं सर्व सौभाग्यदायकम् ॥१॥ दीप्तिमानं मुकुटं स्फुरन्मकरकुण्डलम्। ध्यान्त्वा सहस्रकिरणं स्तोत्रमेतदुदीरयेत् ॥२॥ शिरो मे भास्करः पातु ललाटे मेऽमितद्युतिः। नेत्रे दिनमणिः पातु श्रवणे वासरेश्वरः ॥३॥ घ्राणं धर्मधुरीणः पातु वदनं वेदवाहनः। जिह्वां मे मानदः पातु कण्ठं मे सूर्यवन्दितः ॥४॥ स्कन्धौ प्रभाकरं पातु वक्षः पातु जनप्रियः। ...

Lingashtakam\Shiv\lingashtakam stotram-लिङ्गाष्टकम्

श्री लिंगाष्टकम स्तोत्र श्री शिव लिंगाष्टकम स्तोत्र... !! जय श्री सीताराम !! जय श्री हनुमान !! जय श्री दुर्गा माँ !! लिंगाष्टकम में शिवलिंग की स्तुति बहुत अद्बुध एवं सूंदर ढंग से की गयी है। सुगंध से सुशोभित, शिव लिंग बुद्धि में वृद्धि करता है। चंदन और कुमकुम के लेप से ढका होता है और मालाओं से सुशोभित होता है। इसमें उपासकों के पिछले कर्मों को नष्ट करने की शक्ति है। इसका पाठ करने वाला व्यक्ति हर समय शांति से परिपूर्ण रहता है और साधक के जन्म और पुनर्जन्म के चक्र के कारण होने वाले किसी भी दुख को भी नष्ट कर देता है। ॥ लिंगाष्टकम स्तोत्र ॥ ब्रह्ममुरारिसुरार्चितलिङ्गं निर्मलभासितशोभितलिङ्गम् । जन्मजदुःखविनाशकलिङ्गं तत् प्रणमामि सदाशिवलिङ्गम् ॥१॥ देवमुनिप्रवरार्चितलिङ्गं कामदहं करुणाकरलिङ्गम् । रावणदर्पविनाशनलिङ्गं तत् प्रणमामि सदाशिवलिङ्गम् ॥२॥ सर्वसुगन्धिसुलेपितलिङ्गं बुद्धिविवर्धनकारणलिङ्गम् । सिद्धसुरासुरवन्दितलिङ्गं तत् प्रणमामि सदाशिवलिङ्गम् ॥३॥ कनकमहामणिभूषितलिङ्गं फणिपतिवेष्टितशोभितलिङ्गम् । दक्षसुयज्ञविनाशनलिङ्गं तत् प्रणमामि सदाशिवलिङ्ग...